नई दिल्ली: दिल्ली में डेंगू का कहर लगातार जारी है, पडोसी राज्य यूपी में जीका वायरस के कई मामले सामने आ चुके है और दिल्ली पर भी इसका खतरा बरकरार बना हुआ है। दिल्ली भी इस वक्त डेंगू के मरीजों की बढ़ती संख्या से जूझ रही है। वहीं कोरोना के मामलों के बढ़ने का खतरा भी बना हुआ है। ऐसे में दिल्ली में अपना सर्विलांस सिस्टम मजबूत करने की जरुरत है। ताकि किसी भी नए वायरस के आते ही पहचान हो जाए और उसकी रोकथाम के लिए उस पर काम किया जा सके।
हेल्थ विशेषज्ञों का कहना है कि अगर यूपी में जीका वायरस के केस है तो दिल्ली में भी आने में ज्यादा समय नहीं लगेगा। देश के किसी भी हिस्से में किसी भी तरह का वायरस आता है तो दिल्ली पर उसका खतरा हमेशा रहता है। क्योंकि यहां रोजाना लगभग सभी राज्यों से लोगों का आना-जाना लगा रहता है। ऐसे में दिल्ली को अपना सर्विलांस मजबूत करने की जरुरत है। सर्विलांस में टेस्टिंग किट, लैब, जांच करने वाली टीम जैसी चीजें शामिल है। सर्विलांस ऐसा होना चाहिए कि यदि कोई भी नया वायरस आए तो उसकी तुरंत पहचान हो सके। संक्रमित व्यक्ति को अलग किया जाए और उसके संपर्क में आने वाले सभी लोगों की तुरंत जांच की जाए व इसकी रोकथाम पर बिना किसी देरी के काम शुरु किया जाए।
जीका वायरस भी मच्छरों के काटने से होता है। इस संबंध में गंगाराम अस्पताल के डॉ. धीरेन गुप्ता का कहना है कि अभी तक उनके पास जीका वायरस का कोई केस नहीं आया है, लेकिन डेंगू के केस रोजाना आ रहे है। इनमें से कई को भर्ती करने की जरुरत पड़ रही है और आईसीयू तक भी जा रहे है। करीब एक महीने से डेंगू के केस बडी संख्या में आ रहे है। बता दें कि डेंगू और जीका वायरस दोनों मच्छर के काटने से होने वाली संक्रमण बीमारी है और दोनों के लक्षण भी करीब समान है। बता दें दिल्ली में डेंगू के कारण इस साल डेंगू के कारण 9 लोगों की मौत हो चुकी है। जिसमें से तीन मरीजों की मौत नवंबर के पहले सप्ताह में हुई है। वहीं इस साल डेंगू के मामले अब तक 2708 तक आ चुके है। इनमें से पिछले सप्ताह में 1171 मामले आए है।