14.1 C
Delhi
रविवार, दिसम्बर 29, 2024
Advertisement
Advertisement
Advertisement

आखिर क्यों हिंदू धर्म में जलाने के बजाए दफनाए जाते है नवजात शिशुओं के शव, ? अगर नहीं जानते तो पढे पूरी खबर ?

भारत पूरी दुनिया में एक मात्र ऐसा देश है जो सभी धर्मों का सम्मान करने में विश्वास रखता है और यहां हर धर्म के लोग आपस में बड़े ही प्रेम के साथ मिलकर रहते है और अलग-अलग धर्म होने के चलते यहां पर धर्म के आधार पर लोगों के जन्म से लेकर मृत्यु तक के रिवाज और नियम भी अलग-अलग है।

अब जैसे कि हम मृत्यु की ही बात ले लेते है। कई धर्मों का देश होने की वजह से यहां पर हर धर्म में अंतिम संस्कार के अलग-अलग नियम है। जैसे मुस्लिम और ईसाई धर्म में मृत्यु के उपरांत शव को दफनाने का नियम है और हिंदू धर्म में मृत्यु उपरांत व्यक्ति का दाह संस्कार (व्यक्ति के शव को जलाना) किया जाता है लेकिन जब हम रिवाज और नियमों की बात कर ही रहे है तो यह तो सभी जानते होंगे कि हिंदू धर्म में जब किसी कारणवश नवजात शिशु की मृत्यु हो जाती है तो उसे दफनाया जाता है।

अब जरा सोचिए जिस धर्म में व्यक्ति को जलाने का रिवाज है वहां नजवात शिशुओं को दफनाया क्यों जाता है ? नहीं जानते? तो चलिए आपको बताते है। दरअसल, हिंदू धर्म में कहा जाता है कि अग्नि आध्यात्मिक दुनिया का सीधा मार्ग है और अंतिम संस्कार आत्मा का शरीर से अलग होने का एक रूप है। इसीलिए मृत्यु के उपरांत हिंदू धर्म में लोगों को अंतिम संस्कार (जलाने) का रिवाज है।

BEGLOBAL

वैसे हिंदू धर्म के अनुसार मान्यता यह भी है कि जब शरीर को जलाया जाता है, तो आत्मा का लगाव उस शरीर से हट जाता है और आत्मा को अग्नि के माध्यम से आध्यात्मिक दुनिया और फिर मोक्ष मिल जाता है। इतना ही नहीं हिंदू धर्म में यह भी कहा जाता है कि व्यक्ति के शव का मृत्यु के 8 घंटे के भीतर ही अंतिम संस्कार कर देना चाहिए, नहीं तो उसकी आत्मा को शांति नहीं मिलती।

अब आप लोगों के मन में यह सवाल आ रहा होगा कि जब आत्मा को अंतिम संस्कार के माध्यम से शांति मिलती है तो नवजात शिशुओं के शव को दफना कर उनके साथ भेदभाव क्यों किया जाता है, तो चलिए आपको इसका भी जवाब देते है। दरअसल, हिंदू धर्म के अनुसार ऐसा माना जाता है कि जो नवजात शिशुओं की आत्मा होती है उसे अपने शरीर ज्यादा लगाव नहीं होता क्योंकि वह आत्मा उस शरीर में ज्यादा समय तक नहीं रही होती और यही कारण है कि उनकी आत्मा आसानी से अपना शरीर छोड़कर मोक्ष के धाम चली जाती है। इसी वजह से हिंदू धर्म में नवजात शिशुओं के शव को मृत्यु के उपरांत जलाने का बजाए दफनाए जाने का रिवाज है।

Related Articles

कोई जवाब दें

कृपया अपनी टिप्पणी दर्ज करें!
कृपया अपना नाम यहाँ दर्ज करें

Latest Articles

BEGLOBAL